खडगवा वन परिक्षेत्र में वन विभाग के कार्यालय से करीब 500 मीटर की दुरी पर पेड़ों की अवैध कटाई जोरों पर है।
पर वन विभाग का मौन रहना आश्चर्यजनक है। कृषक वन भूमि पर कटाई कर अवैध कब्जा कर रहे हैं
वहीं दूसरी ओर लकड़ी तस्कर इमारती लकड़ी विशेषकर सागौन की लकड़ी की अवैध कटाई में निरंतर बेखौफ लगे हैं।
यह भी सही हैं कि अवैध कटाई का कार्य खुलेआम चल रहा है। अंधाधुंध कटाई से जंगल अब ठूठ मे बदलने लगे हैं,
अवैध कटाई पर वन विभाग का मौन रहना आश्चर्यजनक है, फिर भी वन विभाग के अधिकारियों का आंख मूंदकर बैठना यह साबित करता है
कि जंगलों की अवैध कटाई वन विभाग की सरपरस्ती पर खुलेआम चल रही है।
वन परिक्षेत्र खडगवा के जिल्दा मे वनो पर अवैध कब्जा किया जा रहा है मगर अधिकारी गहरी निद्रा मे सोये हुये है,
खडगवा वन परिक्षेत्र के अधिकारों पर यु ही आरोप नही लगाये जाते, बहुत सारी कमिया देखी जा सकती है।
अभी कुछ दिनो पहले ही खडगवा वन परिक्षेत्र के जंगलो मे हथियो के द्वारा एक महिला को कुचल कर मौत के घाट उतार दिया गया था,
ग्रामीणो का कहना था कि वन विभाग के द्वारा हाथियो के आने की जानकारी लेट से दी गई थी इस वजह से ये हादसा हुई।
खडगवा वन परिक्षेत्र की अधिकारी अपने कार्यक्षेत्र से करीब 40 -50 कि. मीटर की दुरी मे रहती है
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जिससे वनो की सही निगरानी नही हो पा रही है, वन परिक्षेत्र जंगलों के संरक्षण संवर्धन तथा वनों की सुरक्षा के लिए केंद्र व
राज्य सरकार प्रतिवर्ष क्षेत्र में लाखों करोड़ों रुपए खर्च कर रही है किंतु पर्यावरण के प्रति जागरूकता लाने में वन विभाग पूरी तरह असफल रहा है
या यूं कहें कि वन विभाग अवैध कटाई व वन तस्करों के संरक्षण को लेकर कार्य कर रहा है तो कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी।
संवाददाता – सुरेश कुमार, सरगुजा संभागीय हेड